सोमवार को बजट सत्र का पहले दिन राज्यपाल के अभिभाषण से आरंभ
जनवक्ता ब्यूरो, शिमला
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने चालू वित्तीय वर्ष के 3,142 करोड़ रुपये के अनुपूरक बजट को सोमवार को बजट सत्र के पहले दिन मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने सदन में पेश किया। इसे मंगलवार को पारित किया जाएगा। सोमवार को सदन में सीएम जयराम ठाकुर ने वित्त वर्ष 2018-19 के लिए अनुपूरक अनुदान मांगों की प्रथम और अंतिम किस्त पेश कीं । उन्होंने 3,142 करोड़ 65 लाख रुपये की अनुपूरक मांगें प्रस्तुत कीं। इनमें से 2,021 करोड़ 69 लाख रुपये गैर योजना स्कीमों, 671 करोड़ 26 लाख रुपये योजनागत स्कीमों और 449 करोड़ 70 लाख रुपये का प्रावधान किया गया है। गैर योजना व्यय में 1,438 करोड़ 70 लाख रुपये का प्रावधान वेज एंड मीन्स एडवांस के लिए किया गया है। लगभग 144 करोड़ रुपये शिमला जल प्रबंधन निगम लिमिटेड के विद्युत प्रभारोें, भू अधिग्रहण मुआवजे, 98.91 करोड़ रुपये बिजली उपभोक्ताओं के टैरिफ उपदान, 73.97 करोड़ रुपये धार्मिक स्थलों के सौंदर्यीकरण, पार्किंग स्थलों, 68.96 करोड़ रुपये एचआरटीसी को सहायता अनुदान, 31.16 करोड़ रुपये सड़क निर्माण, मुआवजे का भुगतान, 29.50 करोड़ रुपये सामाजिक सुरक्षा, 17.40 करोड़ रुपये कल्याणकारी योजनाओं और 15.23 करोड़ रुपये जलाशय निर्माण आदि के लिए खर्चे जा रहे हैं। 18 करोड़ 98 लाख विधानसभा चुनाव के लंबित दायित्व और आगामी लोकसभा चुनाव पर अग्रिम व्यय के लिए प्रावधान किया गया है। योजना स्कीमों के तहत 226 करोड़ रुपये एचपीपीटीटीएल, शिमला शहर मेें सरकारी भवनों की छतों पर ग्रिड से जुडे़ सौर संयंत्रों की स्थापना, 110 करोड़ 55 लाख रुपये पेयजल और सिंचाई, 101.49 लाख रुपये भवनों और सड़कों के निर्माण, 46.04 करोड़ रुपये बहुतकनीकी मशीनरी, 33.66 करोड़ रुपये एम्स बिलासपुर, आईजीएमसी शिमला और मेडिकल कॉलेज टांडा के होस्टल, 26.70 करोड़ रुपये जनजातीय विकास, 25.53 करोड़ रुपये विभिन्न स्कूलों-कॉलेजों आदि के लिए बजट प्रावधान किया गया है। केंद्रीय प्रायोजित योजनाओं में 91.94 करोड़ रुपये बाढ़ प्रबंधन कार्यक्रम, 84.13 लाख रुपये राहत कार्योें, 50 करोड़ केंद्रीय सड़क निधि, 48 करोड़ प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना, 39.60 करोड़ रुपये सहकारी परियोजनाओं, 39.17 लाख रुपये मेडिकल कॉलेजों, 30 करोड़ 78 लाख रुपये पोषण अभियान, 20 करोड़ 55 लाख राष्ट्रीय पशुधन मिशन, 10.20 करोड़ रुपये सर्व शिक्षा अभियान और 4.92 करोड़ रुपये राष्ट्रीय ग्रामीण पेयजल कार्यक्रम के लिए प्रस्तावित हैं।