लखनऊ।: गिरफ्तार आतंकी मिनहाज की गतिविधियां शुरू से ही संदिग्ध थीं। मिनहाज के घर पर अक्सर कश्मीर से संदिग्ध युवक आते थे। यही नहीं, कपड़े और ड्राई फ्रूट बेचने वाले कश्मीरी युवक भी मिनहाज के घर पर रुकते थे। स्थानीय लोगों का कहना है कि मिनहाज की हरकतें संदिग्ध प्रतीत होती थीं। हालांकि किसी ने इसकी शिकायत पुलिस से नहीं की थी। एटीएस ने दुबग्गा चौराहे के पास बरावन कला स्थित मिनहाज के मकान से सटे दो अन्य घरों में भी सर्च आपरेशन चलाया। मिनहाज के पिता सिराज अहमद अपने भाई रियाज के साथ वहां रहते हैं। सिराज और रियाज सरकारी कर्मचारी थे, जो अब सेवानिवृत हो चुके हैं।
एटीएस ने मिनहाज के घरवालों से कश्मीर कनेक्शन और उसकी गतिविधियों के बारे में कई घंटे पूछताछ की। घर में मौजूद महिलाओं से भी टीम ने मिनहाज और मसीरुद्दीन उर्फ मुशीर से मिलने वालों के बारे में जानकारी ली। एटीएस यह पता लगा रही है कि दोनों आतंकी कब-कब कश्मीर गए थे। दोनों ने लखनऊ को दहलाने के लिए किन जगहों पर प्रशिक्षण लिया था। इसके बारे में खुफिया एजेंसियां सुराग लगा रही हैं। माना जा रहा है कि फेरी वाले बनकर मिनहाज के घर पर आने वाले कश्मीरी युवकों का भी आतंकी संगठनों से संबंध है। पड़ोस में रहने वाले एक युवक ने बताया कि मिनहाज आसपास के लोगों से बहुत कम मिलता था। वह सऊदी अरब भी गया था। पांच साल पहले वह सऊदी से लौटकर आया था, जिसके बाद से उसके व्यवहार में काफी अंतर आ गया था। स्थानीय निवासियों का कहना था कि बातचीत से उन्हें कभी नहीं लगा कि मिनहाज देश विरोधी गतिविधियों में लिप्त है। वह कम बोलता था और अपने काम से मतलब रखता था।