देहरादून: चारधाम यात्रा के दौरान हार्ट अटैक से जान गंवाने वाले यात्रियों की संख्या को देखते हुए स्वास्थ्य महकमा इस वर्ष व्यवस्थाएं दुरुस्त करने की तैयारी कर रहा है। इस बार महकमा केदारनाथ मार्ग पर गौरीकुंड से आगे हर किमी पर एक डॉक्टर तैनात करेगा। गौरीकुंड में ईसीजी यूनिट तैनात की जाएगी। इसके अलावा 50 वर्ष के ज्यादा उम्र के यात्रियों का भी जगह-जगह चेकअप किया जाएगा।
प्रदेश में चारधाम यात्रा विधिवत शुरू हो चुकी है। केदारनाथ के कपाट अब खुलने ही वाले हैं। इसके साथ ही यात्रा रफ्तार पकड़ने लगेगी। बीते वर्षों में यात्रा के दौरान दुर्घटना के अलावा सबसे अधिक मौतें हार्ट अटैक से हुई। इसके देखते हुए स्वास्थ्य महकमे ने इस बार इस दिशा में विशेष जोर दिया है।
इसके तहत यात्रा मार्ग से संबंधित जिलों में ऑक्सीजन चैंबर लगाए जाएंगे। इसके अलावा विभिन्न स्थानों पर ईसीजी यूनिट भी खोली जाएंगी। जगह-जगह 50 वर्ष से अधिक आयु के यात्रियों के स्वास्थ्य के बारे में जानकारी लेते हुए व्यापक चेकअप किया जाएगा। इस बार डॉकटरों की संख्या भी दोगुना करने की तैयारी है।
यात्रा मार्ग पर जगह-जगह स्वास्थ्य केंद्रों के संबंध में फ्लेक्सी बोर्ड लगाए जाएंगे। केदारनाथ मार्ग पर 14 एमआरपी (मेडिकल रिलीफ प्वाइंट) लगाए जाएंगे। यमुनोत्री मार्ग पर भी फस्र्ट मेडिकल रिस्पांडर की तैनाती की जाएगी। यात्रा मार्ग पर तैनात स्वास्थ्य महकमे के अन्य कार्मिकों को भी प्राथमिक चिकित्सा देने के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा।
यात्रा मार्ग पर हाई एल्टीट्यूड सिकनेस से भी खासी संख्या में यात्री पीडि़त होते हैं। स्वास्थ्य महकमा इनके लिए भी भी विभिन्न स्थानों पर दवाओं की व्यवस्था करेगा। सचिव स्वास्थ नितेश झा का कहना है कि सरकार का प्रयास इस बार चारधाम यात्रा मार्ग पर स्वास्थ्य व्यवस्थाओं को और अधिक दुरुस्त करने का है।
इसके लिए तैयारियों को लेकर समीक्षा कर ली गई है। नोडल अधिकारी की तैनाती हो चुकी है। विभाग इस बार यात्रा मार्ग में बीते वर्षों के मुकाबले दोगुने डॉक्टर तैनात करने की तैयारी कर रहा है।